हम ऊपर वाले के सुकर गुजर है ,
की इस बेरहम दुनिया में ....
अब भी लोगो के दिल में ...
दूसरों के लिए मोजूद प्यार है |
यूँ तो अब बारिश नहीं होती है ,
किसी करीबी के प्यार की ,
पर दो-बुँदे जो मिलती है ,
उसे ही रब का शब समझकर ..
ख़ुशी से दिल में सजाते है ....|
हमें तो अब डर सा लगता है ,
की हमें अब खुद से प्यार ना हो जाये ??
क्या लोगो की उम्मीदों , दुआओं , दोस्ती को
कोई नाम देना क्या जरुरी .... ??? |
प्यार की कमी उसे होती है ,
जो किसी एक से उम्मीद किया करते है ...
हम तो खुश है की दुनिया में कई लोगो है ...
जो अपनी हर ख़ुशी में .....
बिना बोले हमें भी शामिल करते है |
कुछ लोग तो सच में हैं .......
ReplyDeleteबेहतरीन
ReplyDeleteसादर
आप सभी का आभार ...
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